*अब यँहा लेजर शो के जरिए दिखाएंगे 6.5 करोड़ साल पहले के इतिहास की जानकारी*
*यँहा आप कर सकेंगे रेन डांस, ट्रेकिंग और होगी कैंपिंग भी आठ एयर कंडिशनर कॉटेज भी बनकर तैयार*
*धार-(इंदौर):-बाबा यादव*
जी हां हम बता दे कि धार जिले के करीब और मांडू से महज 5 किलोमीटर की दूरी पर बनकर तैयार हो चुका मप्र का पहला डायनासोर फॉसिल्स पार्क बताया जा रहा है कि यह पार्क पर्यटकों के लिए लॉकडाउन खत्म होते ही खोल दिया जाएगा। कलेक्टर आलोक कुमार सिंह ने बताया कि इस स्थल पर सुगम पहुंच, मनभावन मौसम, दर्शनीय आकर्षण, ऐतिहासिक महत्व, आवास सुविधाएं, आराम और मनोरंजन के साथ ही सुरक्षा, रोमांच की गुंजाइश आदि व्यवस्थाओं की पूर्ति इसे भारत के अच्छे टूरिस्ट स्पॉट के रूप में स्थान दिला सकता है। इस डायनासोर जीवाश्म पार्क में आवश्यक निर्माण कार्य लगभग पूर्ण होने को है। कलेक्टर सिंह ने जिला पंचायत सीईओ आशीष वशिष्ठ के साथ पार्क का दौरा किया। पार्क की तमाम जानकारी देते हुए कलेक्टर सिंह ने बताया कि यह डायनासोर पार्क अपने आप में अनूठा फॉसिल्स म्यूजियम है। पर्यटकों को डायनासोर के 6.5 करोड़ साल के इतिहास की जानकारी लेजर शो के जरिए मिलेगी साथ ही पार्क में डायनासोर के अंडेनुमा म्यूजियम में रखे डायनासोर के अंडे देखने को मिलेंगे। यहां के रॉक गार्डन में अन्य फासिक्स डिस्प्ले किए जा रहे हैं। पार्क में बने हैंगिंग फ्लोर में पर्यटक काकड़ खो का बीच से नजारा कर सकेंगे। इसी तरह तैयार किए जा रहे रेन डांसिग प्लोर में नेचुरल और आर्टीफिशियल बारिश पर्यटकों को लुभाएगी। करीब 10 एकड़ क्षेत्र में फैले पार्क में चार पॉन्ड, चार बगीचे, पर्यटकों के बैठने के लिए हट्स का निर्माण भी किया गया है। पार्क में एक फूड जोन और स्थानीय उत्पाद विक्रय हेतु आऊटलेट्स भी बनाए गए हैं, जो खरीद सकेंगे। पर्यटकों के मनोरंजन के लिए एक रिक्रिएशन हॉल, डांस फ्लोर गैलरी भी बनी है। आठ एयर कंशीड़ण्ड
कॉटेज भी बनकर तैयार है। पांच और कॉटेज बनाने की प्लानिंग है। पर्यटक इन कॉटेज को बुक करा सकेंगे। पर्यटकों के लिए यहां एडवेंचर स्पोर्ट्स का इंतजाम भी किया गया है। बच्चों के लिए पँजी जंपिंग, एटीवी बाइक जैसे अन्य एडवेंचर गेम का आयोजन की भी व्यवस्था की गई है। कांकड़ा खोह झरने की तरफ से ट्रेकिंग पाथ का निर्माण भी जारी है। खोह में तीन छोटी पानी रोकने की संरचना भी बन कर तैयार हैं। यहां केम्प फायर की प्लानिंग है।
ग्रामीण यांत्रिकी सेवाओं के सहायक मंत्री वीरेंद्र खांडे बताते हैं कि 2019 के पहले तो लोगों को उम्मीद नहीं थी कि इस फासिल्स पार्क में कभी इतना परिवर्तन हो सकेगा। पार्क का कार्य अक्टूबर 2019 में प्रारंभ किया गया। उसके पूर्व पार्क वीरान था एवं म्यूजियम ही देखने के लिए इक्का दुक्का पर्यटक आते थे। अक्टूबर 2019 से लेकर वर्तमान तक पार्क में चारों और पत्थर की बाउण्ड्रीवाल बनाई गई। यहाॅ पर लेण्ड लेवलिंग का कार्य करके घास के गार्डन तैयार किया गया। चार पौण्ड का कार्य किया गया। पौण्ड के चारों ओर बोल्डर वाॅल का काम किया गया। सम्पूर्ण क्षेत्र में पाथवे का निर्माण किया गया एवं वृक्षारोपण का कार्य भी किया गया। साथ ही खुरासामी ईमली के पेड़ के पास ही के गांव से लाकर फाॅसिल पार्क में रिप्लांट किया गया। जो कि आज जीवित रह हरा-भरा है। म्यूजियम के अंदर भी कार्य किया। पार्क में हेगिंग फ्लोर का भी निर्माण प्रगतिरत् है। साथ ही राॅक गार्डन का कार्य भी प्रगतिरत् है। पार्क के चारों और अमलवास, गुलमोहर एवं केशिया शाइमा के पौंधे लगाए जाएगे। कलेक्टर श्री सिंह ने रिप्लांट किए गए खुरासामी ईमली के पेड़ को देख कर प्रसन्नता व्यक्त की।आगामी दिनो में यह पार्क पर्यटकों के लिए एक सप्राइज होगा।